शिवलिंगेऽपि सर्वेषां देवानां पूजनं भवेत ! सर्वलोकमये यस्याः शिवशक्तिः विभुः प्रभुः !
अर्थात - शिवलिंग में ही सभी देवताओं का पूजन करना चाहिए, क्योंकि सभी लोकों
एवं ईश्वरों के स्वामी शिव माँ शक्ति के साथ शिवलिंग में ही विराजमान रहते हैं !
श्रीमहारुद्राभिषेक पाठ एवं भंडारे में शामिल होने हेतु सभी शिवभक्त सादर आमंत्रित
हैं ! आपके 'रुद्राभिषेक' एवं भोजन की व्यवस्था का खर्च संस्था द्वारा वाहन किया
जाएगा ! दिए गये नंबरों पर संपर्क कर सकते हैं !
अर्थात - शिवलिंग में ही सभी देवताओं का पूजन करना चाहिए, क्योंकि सभी लोकों
एवं ईश्वरों के स्वामी शिव माँ शक्ति के साथ शिवलिंग में ही विराजमान रहते हैं !
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